श्रीभक्तिविनोद का श्रीगौरमनोऽभीष्ट-प्रचार
श्रीभक्तिविनोद का श्रीगौरमनोऽभीष्ट-प्रचार
— श्रीश्रील भक्तिसिद्धांत सरस्वती गोस्वामी ठाकुर प्रभुपाद
श्रीमद भक्तिविनोद ठाकुर ने बहुभाषी दुनिया को बंगाली,अंग्रेजी,संस्कृत आदि में श्रीचैतन्यदेव द्वारा प्रचारित कृष्ण, कार्ष्ण (कृष्ण के जन) और श्रीनाम की सेवा का प्रचार किया है। पिछले ढाई या तीन सौ वर्षों के गौड़ीय-वैष्णव जगत का इतिहास और कुछ नहीं केवल– हरिसेवा के नाम पर जड़ इन्द्रिय परायणता। दो- एक भजनानंदी वैष्णव ने स्वयं भजन किया। श्रील विश्वनाथ चक्रवर्ती ठाकुर या श्रीपाद बलदेव विद्याभूषण जैसे वैष्णवाचार्यों ने अपनी पुस्तकों में शुद्ध भक्ति के बारे में लिखकर वैष्णव जगत का बहुत भला किया है। परन्तु सामान्यतः शुद्धभक्ति का प्रचार बहुतायत में देखने को नहीं मिलता। श्रीमद् भक्तिविनोद ठाकुर श्रीगौरसुंदर की महावदान्यता (परम करुणा के वश हो सबसे महान दान करना; magnanimous) को सर्वसाधारण तक पहुँचाने के लिए विशेष रूप से उत्साही और यत्नवान थे। मेरे गुरुवर्ग जो इस समय यहा उपस्थित (मौजूद) हैं - काय-मन-वक्य से श्रीचैतन्यदेव मनोऽभीष्ट (आंतरिक इच्छा के प्रचार लिए दृढ़ हैं, 'उन्हें निश्चित रूप से श्रीगौरसुंदर की कृपा मिलेगी।
Comments